गीता पर राष्ट्रीय बहस हो- नकवी
8 Dec.2014 भगवद्गीता की 5151वीं जयंती के मौके पर विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने गीता को राष्ट्रीय ग्रंथ बनाने की पैरवी की. सुषमा ने कहा कि वह सदन में पहले भी इस मुद्दे को उठा चुकी हैं, वहीं केंद्रीय राज्य मंत्री और बीजेपी नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने सुषमा स्वराज की मांग का समर्थन किया है. नकवी ने कहा कि विदेश मंत्री ने कुछ गलत नहीं कहा है और इस पर राजनीति नहीं की जानी चाहिए गीता पर राष्ट्रीय बहस हो/
8 Dec.2014 को दिल्ली में गीता प्रेरणा उत्सव के दौरान सुषमा स्वराज समेत वीएचपी नेता अशोक सिंघल ने भी गीता को राष्ट्रीय ग्रंथ का दर्जा दिए जाने की मांग की थी. इस मौके पर विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा था, ‘मैं यहां विदेश मंत्री के तौर पर नहीं, बल्कि गीता की राह पर चलने वाले अनुयायी के तौर पर आई हूं. गीता के कारण ही मैं बिना किसी परेशानी के विदेशी मंत्री के कार्यों का सफल निर्वहन कर रही हूं. है.’ गीता प्रेरणा उत्सव में 51 हजार लोगों के अलावा कई बड़ी हस्तियों ने भी शिरकत की. कार्यक्रम में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर, जगतगुरू शंकाराचार्य स्वामी दिव्यानंद तीर्थ, महंत महेशवर्दास, स्वामी गुरु शंर्नानंद और योग गुरु बाबा रामदेव शामिल हुए. उत्सव में शिरकत करते हुए मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि अगले साल गीता के 5151वें साल के पूरे होने पर कुरुक्षेत्र में भी ऐसा ही एक बड़़ा आयोजन किया जाएगा. हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा वो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से आने वाली गीता जयंती पर डाक टिकट जारी करने की प्रार्थना करेंगे.दूसरी ओर, जेडीयू अध्यक्ष शरद यादव ने विवाद से बचने की सलाह देते हुए कहा कि गीता को किसी के सहारे की जरूरत नहीं है. सीपीएम नेता सीताराम येचुरी ने भी गीता को राष्ट्रीय ग्रंथ मानने से इनकार किया है. उनका कहना है कि गीता एक धर्म का पवित्र ग्रंथ है. बाकी सभी धर्मों के भी ग्रंथ हैं, लेकिन राष्ट्रीय ग्रंथ के तौर पर सिर्फ संविधान हो सकता है. /